जानिए धनतेरस पर झाड़ू खरीदने की परंपरा के पीछे क्या है उसका महत्व


डेस्क : धनतेरस की पूजा धन की देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए की जाती है। इस दिन बर्तन, सोना और चांदी खरीदने की परंपरा लंबे समय से चली आ रही है, लेकिन धनतेरस पर झाड़ू खरीदने का भी विशेष महत्व है। दिवाली सनातन धर्म में मनाया जाने वाला सबसे बड़ा त्योहार है। त्योहार धनतेरस से शुरू होता है और भाई दूज पर समाप्त होता है। पांच दिन तक चलने वाले इस त्योहार की तैयारी लोग महीनों पहले से ही शुरू कर देते हैं।

धनतेरस के दिन भगवान कुबेर और मां लक्ष्मी की पूजा की जाती है। इस दिन चिकित्सा के देवता धन्वंतरि की भी पूजा की जाती है। धनतेरस पर सोना, चांदी और बर्तन खरीदने के अलावा झाड़ू खरीदने का भी अपना विशेष महत्व है। जानिए धनतेरस पर आपको क्यों खरीदना चाहिए भोपाल के ज्योतिषी और पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा से।

धनतेरस पर झाड़ू खरीदने का महत्व: मत्स्य पुराण के अनुसार धनतेरस पर खरीदी गई वस्तुओं में 13 गुना वृद्धि होती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार झाड़ू को देवी लक्ष्मी का स्वरूप माना जाता है। धनतेरस पर झाड़ू खरीदने से घर में सुख, समृद्धि और धन की प्राप्ति होती है। झाड़ू से घर में दरिद्रता दूर होती है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। धन की देवी लक्ष्मी स्वच्छता की ओर आकर्षित होती हैं और वहीं निवास करती हैं।

धनतेरस पर भी खरीद सकते हैं ये सामान: धनतेरस पर कई लोग सोना, चांदी के आभूषण और सिक्के खरीदते हैं। इस दिन बर्तन और नए कपड़े खरीदने का भी रिवाज है। यदि आप नया वाहन खरीदने की सोच रहे हैं तो धनतेरस का दिन सबसे अच्छा माना जाता है।

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