पटना/सिटीहलचल न्यूज़
बिहार में होने जा रहे नगर निकाय में मतदाता को किसी न किसी प्रत्याशी को वोट देना अनिवार्य है, क्योंकि इस चुनाव में निर्वाचन आयोग ने नोटा का बटन ही हटा दिया है। यानी अब लोगो को कोई प्रत्याशी पसंद न होने पर भी किसी न किसी को वोट देना ही होगा। राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से मिली जानकारी के अनुसार नगर निकाय चुनाव में ईवीएम मशीन एम2 का प्रयोग किया जा रहा है।
चुनाव में तीन एवीएम मशीन का उपयोग किया जाएगा, जिसमें एक मेयर, दूसरा डिप्टी मेयर और तीसरा वार्ड पार्षद का होगा। एवीएम में सिर्फ प्रत्याशी का नाम होगा और उसके आगे चुनाव चिन्ह होगा। आयोग की ओर से एक मतदान केंद्र में पीठासीन पदाधिकारी तथा मतदान अधिकारी समेत 6 सदस्य होंगे। मतदान केंद्र के बाहर पीठासीन पदाधिकारी मतदान केंद्र के नाम, मतदान केंद्र संख्या तथा मतदान केंद्र से संबंधित मतदाता सूची निर्वाचन करने वाले प्रत्याशी व आवंटित निर्वाचक प्रतीक की सूची प्रर्दशित करेंगे।
फिलहाल राज्य निर्वाचन आयोग या जिला प्रशासन के तरफ से नोटा को लेकर कोई जागरूकता अभियान नहीं चलाया गया है। अचानक मतदान के दिन नोटा न मिलने पर मतदाता थोड़ा कंफ्यूज भी होंगे। चुकी नगर निकाय चुनाव लोकल है इसलिए इसमे ज्यादा नोटा दबने का चांस रहता है।