पटना हाईकोर्ट ने अदालती आदेश की अवमानना के मामले में सुपौल के जिलाधिकारी पर पाँच हजार रुपये का अर्थदण्ड लगाया

इस अर्थ दंड को उन्हें अपने पॉकेट से पटना उच्च न्यायालय विधिक सेवा प्राधिकरण में जमा कराना होगा। जस्टिस राजीव रंजन प्रसाद ने शम्भू प्रसाद उर्फ़ शम्भू स्वर्णकार की आपराधिक रिट याचिका पर सुनवाई करते हुए ये आदेश पारित किया।

इस मामले में हाई कोर्ट ने दिनांक 08.08.2018 को सुपौल के ज़िलाधिकारी से अपना हलफनामा देने का निर्देश दिया था,लेकिन इस निर्देश के बावजूद उन्होंने अपना हलफ़नामा दायर नहीं किया।

इसके बाद दिनांक 23.09.2022 को हाई कोर्ट ने पुनः उन्हेें हलफनामा देने का निर्देश दिया।उसके बाद भी जब मामला सुनवाई के लिए सूचीबद्ध हुआ,तो कोर्ट ने यह पाया कि उक्त दोनों तिथि को पारित आदेश का अनुपालन सुपौल के जिलाधिकारी द्वारा नहीं किया गया।

गौरतलब है कि सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त समय देने की माँग की गई । इस पर कोर्ट ने नाराजगी जताते हुए उन पर 5000 रुपये का अर्थ दंड लगाया।

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