वृक्ष लगाकर फोटो खींचाकर अधिकारियों ने कर ली इतिश्री नहीं लगा वृक्ष


पूर्णिया/सिटीहलचल न्यूज़

बड़हरा कोठी। प्रखंड क्षेत्र में मनरेगा के तहत संचालित वृक्षारोपण योजना मखौल बनकर रह गया है या यूं कहें तो यह योजना सरकारी राशि की बंदरबांट और मनरेगा कर्मी के चहेते लोगों को आर्थिक लाभ पहुंचाने का जरिया मात्र बनकर रह गया है। हकीकत यह है कि प्रखंड मुख्यालय  से लेकर ग्रामीण क्षेत्र के सार्वजनिक स्थलों पर मनरेगा योजना से मनरेगा कर्मीयों व अन्य एजेंसी द्वारा किया गया वृक्षारोपण सरकारी पैसे की बर्बादी ही दिख रहा है। क्योकि योजना के तहत सार्वजनिक स्थानों पर किये गए वृक्षारोपण का यदि भौतिक सत्यापन किया जाय तो कुल लगाए गए वृक्ष का 5 प्रतिशत वृक्ष भी   मौजूद नही मिलेगा। लेकिन जिम्मेदारों को इससे कोई फर्क नही पड़ता और वे बेपरवाह इस प्रकार की और योजनाओं को संचालित कर सरकारी राशि के दुरुपयोग और बंदरबांट में मशगूल हैं

ताजा मामला ओरलाहा पंचायत के स्टेडियम में हुए वृक्षारोपण का है जहां 10 अगस्त को काफी तामझाम के साथ समारोह पूर्वक वृक्षारोपण किया गया था कार्यक्रम के तहत एक यूनिट कुल 200 वृक्ष लगाए गए थे। कार्यक्रम में प्रखंड के कुछ अधिकारियों को छोड़ प्रायः सभी बड़े अधिकारी और संबंधित जनप्रतिनिधि उपस्थित हुए थे। योजना की सार्थकता पर बल देते हुए  सभी अधिकारियों,कर्मियों और जनप्रतिनिधियों ने अपने नाम एवं पद का बोर्ड लगाकर वृक्षारोपण किया था और खूब फोटो भी खिंचवाया था। कार्यक्रम व योजना को शुरू हुए महज दो माह भी पूरे नही हुए हैं और उक्त योजना के तहत लगाए गए पौधे की दुर्दशा  प्रखंड में अन्य जगह चली रही योजनाओं की जमीनी हकीकत वयां करने के लिए काफी है।  स्टेडियम के आसपास के निवासी अखलेश पासवान, राजदेव पासवान, फुचो पासवान, श्यामपिरित पासवान, जय कुमार पासवान, मिथलेश पासवान, दिलीप पासवान,चुनू सिंह, आलोक पटेल, मो. ऐनुल साह एवम अन्य ने बताया कि इस

स्टेडियम के चारो ओर इस योजना से पूर्व भी दो बार वृक्षारोपण हुआ था लेकिन हर बार यही दुर्गति हुआ जैसा इसबार हो रहा है।ग्रामीणों ने बताया कि वृक्षारोपण के बाद विभाग के कोई कर्मी यहां झांकने तक नही आया है। पौधे लगे हैं या सूखे  इससे संबंधित अधिकारी,कर्मी और जनप्रतिनिधि को कोई लेना देना नही वे लोग कुछ दिन बाद फिर नई योजना खोल सरकारी राशि की बंदरबांट व दुरुपयोग करेंगे ।  वही पंचायत के उपसरपंच रामविलास मंडल ने बताया कि मनरेगा योजना के तहत लगा पौधा का  उचित देख रेख नही होता है। योजना के तहत मिला चापाकल यू घरों में रखा रह जाता है

उन्होंने बताया कि जहां जहां वृक्षारोपण हुआ है। प्रायः स्थानों के चापाकल नही लगा है। कामस्थान से हाहा धार तक  पौधा लगाया गया था लेकिन वर्तमान में 20 प्रतिशत पौधा भी  शेष नही बचा है जबकि वहां कई दफा वृक्षारोपण हो चुका है। इस संबंध में ओरलाहा पंचायत के मुखिया उदित कुमार ने बताया कि कार्यक्रम पदाधिकारी को कुछ दिन पूर्व ही वस्तुस्थिति से अवगत करवा दिया गया है जल्द ही सुख चुके पौधे के स्थान पर नए पौधे लगाकर उचित उपचार किया जाएगा।

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