जन सुराज पदयात्रा के दौरान पश्चिम चंपारण के जमुनिया गांव में प्रशांत किशोर ने कहा, “किसी से आजतक पैसा नहीं लिए हैं, अब ले रहे हैं।
बिहार में बदलाव के लिए उनसे फीस ले रहे हैं, जिनके लिए अब तक काम किया है, ताकि ये टेंट लगाया जा सके। मेहनत से, अपनी बुद्धि से 10 साल काम किए हैं, दलाली नहीं किए हैं।”
उन्होंने आगे कहा, “2014 में चुनाव हारने के बाद नीतीश कुमार ने दिल्ली आकर कहा कि हमारी मदद कीजिए। 2015 में हमलोगों ने उनको जिताने में कंधा लगाया, अभी 10-15 दिन पहले बुलाकर बोले कि हमारे साथ काम कीजिए, हमने कहा कि ये अब नहीं हो सकता है।
एक बार जो लोगों को वादा कर दिया है कि 3500 किमी चलकर गांव-गांव में जाकर लोगों को जगाना है, वही करेंगे। एक बार जनबल खड़ा हो गया, कोई टिकने वाला नहीं है लिखकर रख लीजिए।”