प्रतियोगी परीक्षाओं मे पारदर्शिता को लेकर पटना के बाद नालंदा जिला मे शुरु हुआ

दारोगा- सिपाही बहाली, बीएसएससी, शिक्षक बहाली सहित सभी प्रतियोगी परीक्षाओं मे पारदर्शिता लाने , 35% महिला आरक्षण का लाभ सिर्फ बिहार की बेटियों को ही देने, खाली पदों पर वैकेंसी निकालने सहित छात्र हित से संबंधित दस- सूत्री मांगों को लेकर राष्ट्रीय छात्र एकता मंच के अध्यक्ष छात्र नेता दिलीप कुमार ने मंगलवार को शिक्षा सुधार एवं रोजगार अभियान के तहत नालंदा के बिहारशरीफ मे हस्ताक्षर अभियान चलाया किया। इस अभियान मे छात्र नेता दिलीप कुमार के साथ इंजीनियर अमरदीप कुमार, कुन्दन पटेल, रवि, दीपक पाण्डेय, राजनन्दिनी कुमारी, बबीता कुमारी, मनिष, मोनू, अनुज, नीतीश, धनंजय, इंद्रजीत सहित सैकड़ों छात्र- छात्राएँ शामिल हुए। छात्र नेता दिलीप कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके बताया कि नालंदा मे
दो दिनों तक हस्ताक्षर अभियान चलेगा। पटना के बाद नालंदा मे हस्ताक्षर अभियान चलाया जा रहा है।
पूरा बिहार जाकर पाँच लाख स्टूडेंट्स का हस्ताक्षर कराकर मुख्यमंत्री जी को सौंपा जाएगा। दस- सूत्री मांगें हैं-
1. बिहार दारोगा-सिपाही बहाली, BSSC, शिक्षक बहाली सहित सभी प्रतियोगी परीक्षाओं मे पारदर्शिता लाने तथा धांधली-सेटिंग रोकने के लिए-
(a) OMR शीट की कार्बन कॉपी और Question Booklet परीक्षा समाप्ति बाद परीक्षार्थियों को दिया जाए,
(b) Answer Key जारी हो,
(c) रिजल्ट प्रकाशन के साथ ही कट ऑफ और सभी परीक्षार्थियों का मार्क्स जारी हो ,
(d) पीटी, मेन्स और फिजिकल टेस्ट तीनों मे एक अभ्यर्थी का रॉल न. एक ही हो, अलग-अलग नही। फिजिकल टेस्ट के समय ही लिखित रूप से फिजिकल टेस्ट का मार्क्स दिया जाए,
(e) OMR शीट मे एक कॉलम NOT ANSWERED का दिया जाए।
(f) सेंटर गृह जिला नही दिया जाए और ना ही बहुत दूर। गृह जिला के आसपास के जिला मे सेंटर दिया जाए,
(g) BPSC पीटी से ” E ” ऑप्शन को हटाया जाए और इंटरव्यू की वीडियो रिकार्डिंग करवाई जाए,
(h) पेपरलीक एवं धांधली-सेटिंग मे संलिप्त लोगों को 10 साल की सजा मिले ऐसा कानून बनाया जाए,
(i) बायोमेट्रिक हाजिरी परीक्षा के समय लिया जाए।
2. BSSC द्वितीय इंटर स्तरीय (लगभग 40 हजार पद खाली), लाइब्रेरियन, अमीन, JE, नर्स, डॉक्टर- इंजीनियर, कृषि विभाग से संबंधित एवं अन्य पदों सहित लगभग 6 लाख खाली सरकारी पदों पर वैकेंसी निकाली जाए। सिविल कोर्ट की बहाली को जल्द पूरा किया जाए। 2500 से अधिक दारोगा की वैकेंसी जल्द निकाली जाए।
3. प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी ( B.E.O.) की बहाली BPSC से होनी चाहिए।
4. 35% महिला आरक्षण का लाभ सिर्फ बिहार की बेटियों को ही मिलना चाहिए क्योंकि किसी भी राज्य मे आरक्षण का लाभ उस राज्य के मूल निवासी को ही मिलता है।
5. सभी भर्ती आयोगों का वार्षिक कैलेंडर जारी हो तथा सभी बहाली मे फाइनल रिजल्ट के साथ वेटिंग लिस्ट भी जारी हो। बहाली के लिए फॉर्म भरने का शुल्क 300-350 रुपए ही रहना चाहिए।
6. सभी बहाली स्थायी हो। कॉन्ट्रैक्ट/ अनुबंध/ ठेके पर बहाली बंद हो।
7. असिस्टेंट प्रोफेसर की बहाली प्रतियोगी परीक्षा के आधार पर BPSC से होनी चाहिए।
शिक्षकों एवं प्रोफेसरों की बहाली हर साल हो। स्कूलों, कॉलेजों एवं यूनिवर्सिटीज मे गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की व्यवस्था हो। B.Ed की फीस मे कमी की जाए।
8. यूनिवर्सिटीज मे ग्रेजुएशन एवं पीजी का सत्र नियमित हो तथा लेटलतीफी बंद हो।ग्रुप सी और ग्रुप डी के खाली पदों पर वैकेंसी निकाली जाए।
9. बेरोजगारी दूर करने तथा पलायन रोकने के लिए बिहार मे फैक्ट्रियाँ लगाई जाए ( यह मांग बिहार सरकार और केंद्र सरकार दोनों से है)।
10. रेलवे के खाली पदों पर नई वैकेंसी जल्द निकाली जाए। UPSC सिविल सेवा परीक्षा मे हिन्दी मीडियम वालों के साथ भेदभाव बंद हो ( यह मांग केंद्र सरकार से है)।
छात्र नेता दिलीप कुमार ने बताया कि अगर मांगें नही मानी गई तो पटना मे आमरण अनशन किया जाएगा। बिहारशरीफ मे इस कार्यक्रम के संयोजक इंजीनियर अमरदीप कुमार रहे।

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